-श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए परकोटा से जुड़े तीन स्थल बने जूते-चप्पल रखने के लिए।
-राम मंदिर परिसर में फरवरी तक तैयार होगा ।बलिदानी कारसेवकों की स्मृति में बना रहा शहीद स्मारक।
अयोध्या। राम नगरी अयोध्या एक बार फिर ऐतिहासिक क्षण के साक्षी बनने जा रही है। राम मंदिर के निर्माण कार्य में तेजी के साथ अब अंतिम रूप देने का चरण शुरू हो गया है। भवन निर्माण समिति के अध्यक्ष नृपेंद्र मिश्रा ने बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आगमन और ध्वजारोहण कार्यक्रम को लेकर बैठकों का दौर जारी है। समिति की ओर से प्रधानमंत्री से अनुरोध किया जाएगा कि वे ध्वजारोहण के साथ परकोटा और सप्त मंदिर का भी अवलोकन करें।
राम मंदिर परिसर में निर्माण कार्य तेजी से चल रहा है। मिश्रा ने बताया कि परिसर में शहीद स्मारक का निर्माण भी पूर्ण गति से जारी है, जो फरवरी 2025 तक पूरा होने की संभावना है। यह स्मारक धातु से निर्मित होगा और इसे उन कारसेवकों की स्मृति में बनाया जा रहा है जिन्होंने राम मंदिर आंदोलन में अपना बलिदान दिया। मंदिर की संरचना अत्यंत भव्य और आधुनिक सुविधाओं से युक्त होगी। मुख्य मंदिर में एक साथ 5000 से 8000 श्रद्धालु दर्शन कर सकेंगे। दक्षिण द्वार से प्रवेश करने और निकलने में लगभग 20 मिनट, जबकि सुग्रीव किला मार्ग से दर्शन कर बाहर आने में करीब 40 मिनट का समय लगेगा। श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए जूते-चप्पल रखने हेतु तीन विशेष स्थान बनाए गए हैं जो परकोटा से जुड़े होंगे।
नृपेंद्र मिश्रा ने बताया कि 23 नवम्बर तक मंदिर परिसर मीडिया अवलोकन के लिए तैयार हो जाएगा। इस दौरान पत्रकारों को मंदिर परिसर में प्रवेश की अनुमति दी जाएगी ताकि वे निर्माण की प्रगति को देख सकें। अस्थायी मंदिर को स्मारक के रूप में संरक्षित रखा जाएगा, जहां सदैव एक प्रज्वलित दीपक जलता रहेगा। प्रधानमंत्री मोदी के संभावित आगमन को लेकर अयोध्या प्रशासन और श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट की तैयारियां युद्ध स्तर पर जारी हैं। रामलला का भव्य मंदिर अब अपने पूर्ण स्वरूप में जगमगाने को तैयार है।
राम मंदिर के लिए भक्तों ने दान किए तीन हजार करोड़ रुपये:-
राम मंदिर भवन निर्माण समिति के अध्यक्ष नृपेंद्र मिश्र ने बताया है कि रामभक्तों ने अब तक तीन हजार करोड़ रुपये से ज्यादा की धनराशि रामलला को समर्पित की है। राम मंदिर निर्माण के लिए देश भर के श्रद्धालुओं ने दिल खोलकर दान दिया है। 2022 के बाद भी कई भक्तों ने बड़ी धनराशि देकर रामलला के मंदिर निर्माण में सहयोग किया है। अब भवन निर्माण समिति ने फैसला किया है कि ऐसे सभी दानदाताओं को भी ध्वजारोहण कार्यक्रम में आमंत्रित किया जाएगा।
नृपेन्द्र मिश्र के मुताबिक समरसता की दृष्टि से ध्वजारोहण समारोह में छह हजार से अधिक लोगों को आमंत्रित किया जा रहा है लेकिन अब इसमें उन लोगों को भी शामिल किया जाएगा जिन्होंने 2022 के बाद योगदान दिया है। राम मंदिर निर्माण में योगदान देने वाली कंपनियों, सप्लायर्स और कार्यकर्ताओं का भी सम्मान किया जाएगा। 25 नवंबर के बाद राम मंदिर परिसर में एक वृहद आयोजन किया जाएगा, जिसमें इन सभी को प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया जाएगा।
भवन निर्माण समिति के अध्यक्ष ने खुलासा किया कि अब तक लगभग 1500 करोड़ रुपये की बिलिंग हो चुकी है। राम मंदिर निर्माण का कुल खर्च 1800 करोड़ रुपये तक पहुंचने का अनुमान है।
