-श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के महासचिव चम्पत राय ने की अपील।
अयोध्या। आगामी 25 नवंबर को राम मंदिर में होने वाले ध्वजारोहण का कार्यक्रम में आमंत्रित लोग एक दिन पहले ही 24 को अयोध्या पहुंच जाएं। ये अपील श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय ने की है। उन्होंने कहा है कि ध्वजारोहण प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के द्वारा किया जाएगा। मंदिर परिसर में प्रधानमंत्री के स्वागत के लिए आदि गुरु शंकराचार्य द्वार को भव्यता दी जा रही है।
चंपत राय ने कहा कि कार्यक्रम को लेकर लोगों को आमंत्रण कहीं डाक के माध्यम से तो कहीं व्हाट्सएप, ईमेल और मैसेज के माध्यम से भेजा जा रहा है। कुछ प्रमुख स्थानों पर व्यक्तियों के हाथ से भेजे गए हैं। उन्होंने बताया कि इस कार्यक्रम में प्रवासी भारतीयों को भी बुलाया जा रहा है। उनके आवास की व्यवस्थाएं हो रही हैं। इसके लिए बड़ी मात्रा में होमस्टे, धर्मशाला पर निवास की अनुमति प्रदान की है। जगह-जगह भोजनालय चलाए जाएंगे।
संघ प्रचारक और आयोजन के व्यवस्था प्रभारी गोपाल जी राव ने बताया कि 25 नवंबर को राम जन्मभूमि में सभी मंदिरों के ऊपर शिखर ध्वजारोहण हो रहा है। मुख्य मंदिर का ध्वजारोहण प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और संघ के सरसंघचालक मोहन भागवत करेंगे। जिसको लेकर मंदिर परिसर में निर्माण का कार्य पूर्णता की ओर है। जिसके लिए लगभग ढाई हजार मजदूर और इंजीनियर मिलकर दिन रात कार्य कर रहे है। इसके साथ पुष्प का श्रृंगार व लाइटों से श्रृंगार की योजना चल रही है।
उन्होंने कहा कि मंदिर और परकोटे के बीच स्थित कोर्ट यार्ड में 7000 लोगों के बैठने की व्यवस्था की जा रही है। इसमें विशेषता पूर्वी उत्तर प्रदेश के विभिन्न समाज के लोगों को बुलाया गया है। राम मंदिर के शिखर पर फहराए जाने वाले ध्वज का एक मॉडल बनकर आया था। जिसके साथ ध्वजारोहण का प्रयास कर रहे है। ध्वज अहमदाबाद से लाया जाएगा।
25 नवंबर को ध्वजारोहण कार्यक्रम करने पहुंच रहे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के परिसर भ्रमण के कार्यक्रम भी तय हो गया है।
ट्रस्ट से मिली जानकारी के अनुसार ध्वजारोहण कार्यक्रम के बाद प्रधानमंत्री मंदिर में प्रथम तल पर बना राम दरबार समेत सात और मंदिर लक्ष्मण जी के शेषावतार मंदिर और सप्त मंडप समेत परिसर का भ्रमण करेंगे। परकोटा के मंदिर के साथ-साथ लोअर प्लिंथ में रामायण के 80 प्रकार 3डी म्यूरल लगे हैं। उसको भी देखने की उम्मीद है और मंदिर निर्माण में लगे श्रमिकों और निर्माण एजेंसियों के श्रमिकों से भी मिलेंगे।
